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अल्ट्रासाउंड केंद्रों में जिला स्तर पर गठित टीम कर रही है औचक निरीक्षण -

अल्ट्रासाउंड केंद्रों में जिला स्तर पर गठित टीम कर रही है औचक निरीक्षण

देवघर उपायुक्त सह जिला दंडाधिकारी विशाल सागर की अध्यक्षता में पीसी-पीएनडीटी एक्ट-1994 से संबंधित जिला सलाहकार समिति की बैठक का आयोजन किया गया। इस दौरान उपायुक्त द्वारा जानकारी दी गयी कि पीसी-पीएनडीटी एक्ट के माध्यम से शिशु लिंग अनुपात में कमी को रोकने में मदद मिलती है और महिलाओं के सशक्तीकरण से जुड़े मुद्दों का समाधान होता है।

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देवघर जिला में कुल 38 अल्ट्रासाउंड केंद्र हैं। सभी निबंधित अल्ट्रासाउंड केंद्रों में जिला स्तर पर गठित टीम के द्वारा औचक निरीक्षण कर जांच किया जा रहा है कि इस संस्थानों में भ्रूण हत्या, जन्म पूर्व लिंग परीक्षण और अन्य किसी भी माधयम से बेटियों की हत्या आदि का कार्य तो नकहि किह जा रहा है। अगर उपरोक्त मामलों में कोई भी संस्थान संलिप्त पाए जाते हैं तो उक्त संस्थान के लाइसेंस को रद्द करते हुए जिला स्तर से विधिसम्मत कार्यवाई की जाएगी।

क्या है पीसी-पीएनडीटी एक्ट

गर्भाधान और प्रसव पूर्व निदान तकनीक (PCPNDT) अधिनियम, 1994 भारत में कन्या भुण्र हत्या और गिरते लिंगानुपात को रोकने के लिए भारत की संसद द्वारा पारित एक संघीय कानून है। इस अधिनियम से प्रसव पूर्व लिंग निर्धारण पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। प्री-नेटल डायग्नोस्टिक टेक्निक (पीसी-पीएनडीटी एक्ट- 1994) के तहत जन्म से पूर्व शिशु के लिंग की जांच पर पाबंदी है। ऐसे में अल्ट्रासाउंड या अल्ट्रासोनोग्राफी कराने वाले जोड़े या करने वाले डाक्टर, लैब कर्मी को तीन से पांच साल सजा और 10 से 50 हजार जुर्माने की सजा का प्रावधान है।

अल्ट्रासाउंड केंद्रों द्वरा ऑनलाइन फॉर्म-F संधारण का हो विधिवत जांच

पीसी-पीएनडीटी एक्ट 1994 से संबंधित सलाहकार समिति की बैठक के माध्यम से सभी संबंधित अधिकारियों को निदेशित करते हुए कहा कि वैसे अल्ट्रासाउंड केंद्र जिनके द्वारा पीसी-पीएनडीटी वेबसाइट गरिमा झारखंड पर 10 से कम गर्भवती महिलाओं का ऑनलाइन फॉर्म-एफ का संधारण किया गया हो का समिति के अधिकारियों द्वारा जांच कराते हूए विस्तृत प्रतिवेदन जिला कार्यालय को उपलब्ध कराया जाय ताकि सबंधित विरुद्ध विधिसम्मत कार्यवाही की जा सके। आगे उन्होंने कहा कि जिले दिनांक-24.01.2025 से दिनांक- 31.01.2025 तक save the girl child सफ्ताह मनाया जा रहा है। जिसके तहत जिले के विभिन्न प्रखंडों के स्कूल, कॉलेज में पीसी-पीएनडीटी एक्ट की विस्तृत जानकारी के साथ साथ बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ के संबंध में जागरूकता का आयोजन किया जा रहा है।

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