
हजारीबाग पुर्व कृषि मंत्री एवं कांग्रेस के वरिष्ठ आंदोलकारी नेता योगेंद्र साव ने सोमवार को प्रेसवार्ता को संबोधित करते हुए झारखंड सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा हैं कि झारखंड सरकार अपने उद्देश्यों से भटक चुकी है । कोल बेयरिंग एक्ट 1957 का हवाला देकर जमीन मालिकों का दोहन कर रही है। खनन कार्य में लगे कम्पनियों को पुलिस प्रशासन से सहयोग करवा रही है । खनन हो या ट्रांसपोर्टिंग या अधिग्रहण पुलिस का भय जनता में दिखाकर उनका सहयोग करती नजर आ रही है। विस्थापन की विभीषिका झेल रहे किसानो को बगैर मुआवजा दिए ही उनकी जमीनों को अधिग्रहण किया जा रहा है।
कांग्रेस पार्टी कई नेता सरकार की दलाली करने में लगे हैं
यदि किसान अपनी हक की लड़ाई लोकतांत्रिक माध्यम से करते हैं तो पुलिस उस आंदोलन को कुचल रही हैं निर्दोष नागरिकों को परेशान करने के लिए उन पर झूठा केश दर्ज किया जा रहा है। साथ ही कांग्रेस पार्टी के नेताओं पर भी आरोप लगाते हुए कहा है कि कांग्रेस पार्टी कई नेता झारखंड सरकार का पिछलग्गू बन कर सरकार की दलाली करने में लगे हैं । राहूल गांधी संविधान से देश चलाने की बात करते हैं जबकि झारखंड सरकार संविधान को तार तार कर रही है। पुलिस प्रशासन के सिपाही से लेकर आला अधिकारियों तक खनन कम्पनियों से पैसे लेकर उनके लिए काम कर रही है जनता को देखने वाला कोई नहीं है। साथ ही हजारीबाग की पुर्व उपायुक्त नैंसी सहाय पर भी आरोप लगाया है । कहा है कि कोल खनन कम्पनियों से करोड़ों रूपए लेकर जा चुकी है जिसकी जांच होनी चाहिए। योगेंद्र साव के वक्तव्य से झारखंड में भूचाल आने की पुरी संभावना दिखाई दे रही है, अब देखना दिलचस्प होगा कि झारखंड की राजनीति का ऊंट किस करवट बैठेगा यह भविष्य के गर्भ में है ।